प्रतिवर्ष 12 जनवरी को आध्यात्मिक गुरु स्वामी विवेकानंद की जयंती मनाई जाती है। स्वामी विवेकानंद युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत है। उनके बताए विचारों को अपनाकर जीवन को सरल और सफल बनाने में मदद मिल सकती है। इसी कारण विवेकानंद जी की जयंती को युवा दिवस के रूप में मनाया जाता है। स्वामी विवेकानंद का पूरा जीवन ही सीख लेने योग्य है। 25 वर्ष की आयु में सांसारिक मोह माया त्याग कर वह संन्यासी बन गए। गुरु रामकृष्ण परमहंस को समर्पित रामकृष्ण मिशन की स्थापना की।
एक बार अमेरिका के शिकागो में धर्म संसद का आयोजन हुआ तो हिंदी में भाषण देकर स्वामी विवेकानंद ने हर भारतीय का गौरव बढ़ाया। उनके विचारों को सफलता के मूलमंत्र के रूप में जीवन में आत्मसात किया जा सकता है।
भारत एक युवा देश है। हर वर्ष देश भर में 12 जनवरी को राष्ट्रीय युवा दिवस मनाया जाता है। इस दिन को स्वामी विवेकानंद की जयंती के रूप में मनाते हैं। इसके साथ ही स्वामी विवेकानन्द के जीवन और शिक्षाओं को युवाओं के बीच पहुंचाने का भी काम किया जाता है, जिससे उनके अंदर देशभक्ति की भावना को जगाया जा सके।
स्वामी विवेकानंद के अनमोल विचार।
जैसा तुम सोचते हो, वैसे ही बन जाओगे। खुद को निर्बल मानोगे तो निर्बल और सबल मानोगे तो सबल ही बन जाओगे।
किसी दिन जब आपके सामने कोई समस्या न आए, तो आप सुनिश्चित हो सकते हैं कि आप गलत मार्ग पर चल रहे हैं।
जो कुछ भी तुम्हें कमजोर बनाता है- शारीरिक, बौद्धिक या मानसिक, उसे जहर की तरह त्याग दो।
जब तक जीना, तब तक सीखना। अनुभव ही जगत में सर्वश्रेष्ठ शिक्षक है।
यह कभी मत कहो कि 'मैं नहीं कर सकता', क्योंकि आप अनंत हैं।
जितना बड़ा संघर्ष होगा, जीत उतनी ही शानदार होगी
उठो, जागो और तबतक न रुको, जब तक तुम अपना लक्ष्य प्राप्त नहीं कर लेते
एक समय में एक काम करो, ऐसा करते समय अपनी पूरी आत्मा उसमें डाल दो और बाकि सबकुछ भूल जाओ
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